माओ भारत को सिखाना चाहते थे सबक
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गांधी के साथ माओ से तुंग की गिंती दुनिया के उन गिने चुने नेताओं में होती है जिन्होंने बीसवीं सदी में एक ब्रैंड का दर्जा हासिल कर लिया था. वो चीन के सर्वोच्च नेता थे. चाहे भारत का नक्सली आंदोलन हो या कंबोडिया में खमेर रूज द्वारा किया गया नरसंहार या फिर साठ के दशक में पेरिस के छात्रों द्वारा व्यवस्था के ख़िलाफ़ किए गए प्रदर्शन - सबने कहीं न कहीं माओ से प्रेरणा ज़रूर ली है. माओ की चालीसवीं पुण्य तिथि पर उनके भारत से संबंधों और उनके जीवन से जुड़े कुछ दिलचस्प प्रसंगों को याद कर रहे हैं रेहान फ़ज़ल आज की विवेचना में