एक तरफ मोदी का महात्मा प्रेम, दूसरी तरफ प्रज्ञा का गोडसे प्रेम

Episode 313,   May 18, 2019, 10:43 AM

भोपाल से बीजेपी की उम्मीदवार के बयान से माननीय प्रधानमंत्री इतने विचलित हैं कि उन्हें घिन आ रही है, पार्टी कर भी दे तो वे महोदया को मन से माफ नहीं कर पाएंगे. प्रधानमंत्री जी के मन की महिमा तो पिछले पांच साल में हम सब मन की बात सुन सुन कर जान ही गये हैं. सब लोग भले ही विश्वास न करें, लेकिन प्रधानमंत्री जी तो यह दावा करते ही हैं कि उनके मन की बात सच्ची होती है.